नई दिल्ली, 31 जुलाई 2025:
नेशनल सिक्योरिटीज डिपॉजिटरी लिमिटेड (NSDL) के इनिशियल पब्लिक ऑफरिंग (IPO) को निवेशकों से जबरदस्त प्रतिक्रिया मिली है। IPO खुलने के कुछ ही घंटों में पूरी तरह सब्सक्राइब हो गया। पहले दिन महज तीन घंटे में ही इश्यू फुल सब्सक्राइब हो गया था, और दूसरे दिन तक कुल सब्सक्रिप्शन 5.03 गुना पहुंच गई।
ग्रे मार्केट में बढ़ी डिमांड, ₹143 तक का प्रीमियम
ग्रे मार्केट में NSDL के शेयर ₹135 से ₹143 प्रति शेयर के प्रीमियम पर ट्रेड कर रहे हैं, जो इसके IPO प्राइस ₹800 के मुकाबले लगभग 16 से 18 प्रतिशत ज्यादा है। यह ग्रे मार्केट प्रीमियम निवेशकों में इस इश्यू के प्रति उत्साह और संभावित लिस्टिंग गेन की उम्मीद को दर्शाता है।
IPO का स्ट्रक्चर और टाइमलाइन
यह IPO पूरी तरह से एक Offer for Sale (OFS) है, जिसमें प्रमोटर्स ने कुल 5.01 करोड़ शेयर बिक्री के लिए पेश किए हैं। IPO का प्राइस बैंड ₹760 से ₹800 प्रति शेयर निर्धारित किया गया है, जिससे कंपनी को करीब ₹4,012 करोड़ जुटाने की उम्मीद है।
न्यूनतम 18 शेयरों के एक लॉट के साथ आवेदन किया जा सकता है, जिसकी कुल लागत ₹13,680 बनती है।
महत्वपूर्ण तिथियाँ:
- IPO खुला: 30 जुलाई 2025
- IPO बंद होगा: 1 अगस्त 2025
- Allotment की तारीख: 4 अगस्त 2025
- Refund और Demat क्रेडिट: 5 अगस्त 2025
- लिस्टिंग की तारीख: 6 अगस्त 2025
सब्सक्रिप्शन स्टेटस – दूसरे दिन तक की स्थिति
| श्रेणी | पहले दिन तक | दूसरे दिन तक |
|---|---|---|
| कुल सब्सक्रिप्शन | 1.78 गुना | 5.03 गुना |
| रिटेल निवेशक | 1.87 गुना | 4.17 गुना |
| गैर-संस्थागत निवेशक (NII) | 2.83 गुना | 11.08 गुना |
| क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल बॉयर्स (QIB) | 0.84 गुना | 1.96 गुना |
| कर्मचारी रिवर्ज कैटेगरी | 3.68 गुना | 5.93 गुना |
पहले ही दिन रिटेल और NII कैटेगरी पूरी तरह सब्सक्राइब हो गई थी, जबकि QIB कैटेगरी दूसरे दिन तक पकड़ बना सकी।
संभावित लिस्टिंग गेन और निवेशकों की राय
ग्रे मार्केट में जिस तरह NSDL का शेयर 16-18% प्रीमियम पर ट्रेड कर रहा है, उससे यह स्पष्ट है कि निवेशकों को लिस्टिंग के दिन अच्छे खासे रिटर्न की उम्मीद है। अनुमान के मुताबिक NSDL का लिस्टिंग प्राइस ₹935 से ₹943 तक जा सकता है।
विभिन्न ब्रोकरेज और विश्लेषक संस्थानों ने इस IPO को “सब्सक्राइब करें” की सलाह दी है। उनका मानना है कि कंपनी का वैल्यूएशन आकर्षक है – FY25 के लिए इसका अनुमानित P/E रेशियो लगभग 46x है, जबकि प्रतिस्पर्धी कंपनियों का औसत P/E रेशियो 64x के आसपास है।
कंपनी की स्थिति और ताकत
NSDL की स्थापना 1996 में हुई थी और यह भारत की सबसे पुरानी और सबसे बड़ी डिपॉजिटरी कंपनी है। कंपनी के पास लगभग 3.9 करोड़ एक्टिव डिमैट अकाउंट्स हैं और सेटलमेंट वैल्यू के मामले में इसकी बाजार हिस्सेदारी लगभग 66% है।
वित्त वर्ष 2025 में NSDL ने ₹1,535 करोड़ की कुल आय अर्जित की, जिसमें से ₹343 करोड़ शुद्ध लाभ था। कंपनी का EBITDA मार्जिन लगभग 32% और Return on Net Worth (RoNW) लगभग 17% रहा।
जोखिम और सावधानियाँ
कुछ विशेषज्ञों ने IPO में शामिल संभावित जोखिमों की ओर भी इशारा किया है:
- पूंजी जुटाव नहीं: चूंकि यह पूरी तरह से OFS है, इसलिए इससे कंपनी को ताजगी पूंजी नहीं मिलेगी, जिससे ग्रोथ में डायरेक्ट योगदान नहीं होगा।
- प्रतिस्पर्धा का खतरा: CDSL जैसे अन्य खिलाड़ियों से बाजार में टक्कर बनी रहेगी, खासतौर पर रिटेल सेगमेंट में।
- नियामकीय जोखिम: SEBI द्वारा लाए गए नियमों में किसी भी प्रकार का बदलाव कंपनी की आमदनी और संचालन पर असर डाल सकता है।
निष्कर्ष
NSDL का IPO निवेशकों के लिए आकर्षक अवसर बनकर सामने आया है। शुरुआती दिनों में मिली मजबूत सब्सक्रिप्शन, ग्रे मार्केट में अच्छा प्रीमियम और कंपनी की फाइनेंशियल स्थिरता इसे एक भरोसेमंद निवेश विकल्प बनाती है।
हालाँकि, चूंकि यह इश्यू केवल OFS है और कोई नई पूंजी नहीं लाई जा रही, इसलिए लिस्टिंग गेन के लिए आवेदन करने वाले निवेशकों को सतर्क रहना चाहिए। लंबी अवधि के नजरिए से, जिन निवेशकों को फाइनेंशियल इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टर में स्थिर रिटर्न की तलाश है, उनके लिए यह IPO एक समझदारी भरा विकल्प हो सकता है।

